तेज आवाज का मानव जीवन के अतिरिक्त पालतु जानवर और पेंड़ पौधो पर भी खतरनाक असर पड़ रहा है। लम्बे समय तक तेज आवाज के बीच रहने से मनुष्य का रक्तचाप यानी ब्लडप्रेसर अनियंत्रित हो सकता है। एक बार ब्लडप्रेसर की चपेट में आ गए तो कालांतर में ब्रेन हैम्ब्रेज, हर्ट अटैक और पारालाइसिस यानी लकबा मारने का खतरा बना रहता है। लम्बे समय तक तेज आवाज में रहने वालो के नपुंसक होने और मेमोरी लॉस यानी यादाश्त के कमजोर होने का खतरा भी रहता है। इसको ध्वनि प्रदूषण कहा गया है। घ्वनि प्रदूषण कितना खतरनाक है? देखिए, इस रिपोर्ट में…
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